गोंदिया: हाथीरोग रोकथाम औषध उपचार मुहिम 1जुलाई से प्रारंभ, जिले में 13 लाख 54 हजार 646 लोगों को दी जाएगी गोलियां..

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आगामी पीढ़ी न देखे ये बीमारी, मन की शंका को दूर कर करें गोलियों का सेवन- जिलाधिकारी राजेश खवले

प्रतिनिधि।
गोंदिया। भारतवर्ष में फैली फायलेरिया हाथीपाँव रोग की बीमारी से आज भी अनेक लोग इससे ग्रस्त है। जिसे भी एकबार ये रोग लगा, उसका उपचार नहीं है। ये बीमारी का फैलाव अत्यधिक न हो तथा जड़ से इसकी समाप्ति हो, इस हेतु प्रत्येक वर्ष केंद्र सरकार द्वारा किटजन्य रोग नियंत्रण कार्यक्रम अंतर्गत हाथीरोग दुरकरने हेतु ये मुहिम चलाई जाती है। इस वर्ष ये हाथीरोग रोकथाम औषध उपचार मुहिम 1 जुलाई से 15 जुलाई तक चलाई जा रही है।

हाथीरोग औषध उपचार मुहिम कार्यक्रम को लेकर 22 जून को जिलाधिकारी गोंदिया श्री राजेश खवले की अध्यक्षता में जिला समन्वय समिति की सभा जिला नियोजन सभागृह में ली गई थी, जिसमें हाथीरोग किटजन्य बीमारी की रोकथाम हेतु मुहिम को सफल बनाने, एक ही दिन में शत प्रतिशत लोगों को डीईसी व एल्बेंडाजोल दवाइयां देकर उनके सेवन पर जोर दिया गया।

1जुलाई से 15 जुलाई 2021 के दौरान शुरू की जाने वाली इस हाथीरोग रोकथाम औषध उपचार मुहिम अंतर्गत जिले की कुल 14 लाख 56 हजार 609 जनसँख्या में गर्भवती महिलाओं एवं दो साल से नीचे के छोटे बच्चों को छोड़कर कुल 13 लाख 54 हजार 646 लोगों को चिन्हित कर गोलियां देने व सेवन कराने का निर्णय लिया गया है।

ये कार्यक्रम स्वास्थ्य कर्मचारियों द्वारा कोरोना प्रतिबंधात्मक मार्गदर्शक सूचना के आधार पर पालन करते हुए लिया जायेगा। ये गोलियां उम्र के लिहाज से वितरित की जाएगी। गोली का सेवन भोजन के बाद ही करना है। जनता से आव्हान किया गया है कि मुहिम को सफल बनाने व हाथीरोग मुक्त जिला करने हेतु दवाइयों का सेवन स्वास्थ्य कर्मचारियों के सामने ही करें।

जिलाधिकारी श्री राजेश खवले ने कहा, ये अभियान हाथीरोग से मुक्ति हेतु चलाया जा रहा है, ताकि इस बीमारी का समूल नाश हो। इन दवाइयों के सेवन को लेकर अनेक लोगों के मन मे भ्रांतियां व शंका रहती है। परंतु ये डीइसी की गोलियां सुरक्षित है, इसका कोई दुष्परिणाम नहीं है।

जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्री प्रदीपकुमार डांगे ने कहा, इन गोलियों का सेवन पूर्णतः सुरक्षित है। इसका कोई दुष्परिणाम नहीं है। आप भी इस हाथी रोग से मुक्ति हेतु गोलियों का सेवन करें व इस बीमारी को जड़ से मिटाने मुहिम को सफल बनाने सहयोग करें।

जिला मलेरिया अधिकारी डॉ. श्री वेदप्रकाश चौरागडे ने कहा, अगर किसी को हाथीरोग हुआ तो, उसका कोई उपाय नही। हाथीरोग ना हो इस हेतु डीईसी गोलियो का साल में एकबार सेवन व पांच साल में पांच बार सेवन करने से हाथीरोग को होने से रोका जा सकता है। हम इस मुहिम में सहयोग कर इस किटजन्य बीमारी से मुक्ति पाकर आने वाली पीढ़ी को रोगमुक्त करने का संकल्प कर सकते है ऐसी अपील डॉ. चौरागडे ने की।

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