जिले में जनवरी से अबतक डेंगू के 122 और मलेरिया के 367 कुल मामले, 2 की मौत

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गोंदिया शहर में मच्छरों का प्रकोप, शाम होते ही टूट पड़ते है खुनचुसिया मच्छर, व्यापक पैमाने में छिड़काव कराने की मांग..

प्रतिनिधि। 04 सितंबर
गोंदिया। जिले में मलेरिया और डेंगू का प्रकोप जारी है। अधिकतर क्षेत्रो में सर्दी, खासी और बुखार को लेकर अस्पतालों में भीड़ लगी हुई है। एक तरफ कोविड की दहशत से लोग निजी अस्पतालों में जाकर इलाज करा रहे है वही इसी कोविड काल में डेंगू मलेरिया के चलते लोग स्वास्थ्य केंद्रों में जाने से कतरा रहे है, जिसके चलते अस्पतालों में भीड़ तो देखी जा रही है पर आंकड़ो में संख्या कम दिखाई दे रही है।
मलेरिया विभाग के जिला मलेरिया अधिकारी डॉ. वेदप्रकाश चौरागड़े के अनुसार जनवरी से अगस्त तक अबतक डेंगू के कुल 122 प्रकरण सामने आए है जिसमें एक मौत अगस्त में हुई है। इसी तरह मलेरिया के आंकड़े देखे तो जनवरी से अबतक कुल 367 मामले सामने आएं है जिसमें एक मौत जुलाई माह में हुई है।
गोंदिया शहर की बात करें तो अभी भी ऐसे कई वार्ड है जहां मच्छरों को मारने हेतु कीटनाशक दवाओं का छिड़काव नही हो रहा है। नागरिको का कहना है कि नगर परिषद द्वारा फ़ागिंग मशीन से छिड़काव नही किया जा रहा है। शहर में मच्छरों की संख्या शाम होते ही साफ दिखाई देती है।
नागरिको का कहना है कि इस डेंगू और मलेरिया के संक्रमण पर गंभीरता से कदम उठाते हुए नगर परिषद द्वारा व्यापक स्तर पर जंतुनाशक दवाओं का छिड़काव किया जाना चाहिए। नालियों की साफसफाई हर वार्ड में नियमित हो, तथा कुंओ में भी दवाओं का छिड़काव हो।
जिला मलेरिया अधिकारी डॉ. वेदप्रकाश चौरागड़े का कहना है कि कोई भी बुखार आने पर नजदीक के स्वास्थ्य केंद्र में जाकर RDK द्वारा मलेरिया का इलाज कराए। बुखार को हल्के में ना ले तथा अनुभवी व अधिकृत डॉक्टर से इलाज कराएं। सप्ताह में एक दिन सभी बर्तनों का पानी खाली कर ड्राय डे (बर्तन सूखाकर) मनाएं। घर के सामने या पीछे की नालियों में गाड़ी का जला हुआ आइल डाले एवं मच्छरदानी का उपयोग करें।

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